संधि रक्षक दर्दनाशक तेल (Sandhi Rakshak Pain Killer Oil)
संधि रक्षक दर्दनाशक तेल
मांस पेशियों, पीठ, कमर व पसली के दर्द के लिए
100 से अधिक बहुमूल्य आयुर्वेदिक जड़ी-बूटियों से निर्मित ऐसा तेल
जो घुटनों के दर्द (नया या पुराना), कमर दर्द, नसों का दर्द, एड़ी का दर्द,
चोट-मोच का दर्द, अंगों का जकड़ना, सुन्नता आना आदि समस्त वायु रोगों में प्रभावी सिद्ध हुआ है
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जानकारी :- संधि रक्षक दर्द नाशक
तेल त्वचा की निचली सतह तक पहुँचकर जोड़ों में पाए जाने वाले ज्वाइंट फ्लुड को बढ़ा
देता है और कमजोर टिश्यूज को बल देता है |जिससे हड्डियों के जोड़ों में ताक़त आ जाती है जिससे सूजन व
दर्द समाप्त हो जाता है |
उपयोग विधि :- 2 से 3 चम्मच संधि रक्षक दर्द नाशक तेल का 20 से 30 मिनट तक प्रभावित अंग पर राउण्ड में इस तरह से मसाज
करें कि तेल पूरी तरह से त्वचा में उतर जाए (यदि सूजन हो तो हल्के हाथों से मालिश करें)
| तेल पूरी तरह से पच जाने के
बाद गर्म पट्टा या मोटा सूती कपड़ा 4 से 5 राउण्ड में बांध लेवें | यह प्रक्रिया दिन मे दो बार करें, इसे नियमित रूप से शुरू रखिए | जब पूर्ण रूप से दर्द से आराम हो जाए तब हमारे कस्टमर केयर नम्बर
पर सम्पर्क करें| हमेशा के लिये दिन में दो बार इस तेल की मालिश शुरू
रखें ताकि भविष्य में उम्र के साथ घुटने , कमर, जोड़ों सम्बन्धी समस्यायें
नहीं होगी | यहाँ तक की यह बहुमूल्य
जड़ी - बुंटीयाँ घुटनों के जोड़ में कम हुए ग्रीस को भी पुनः निर्माण कर देता है |
संधि रक्षक सीरप :- यदि रोग पुराना हो तो साथ मे संधि
रक्षक सीरप भोजन के बाद 2 से 3 चम्मच दवा बराबर मात्रा में गर्म पानी में मिलाकर लेवें |
संधि रक्षक कैप्सूल :- संधि रक्षक कैप्सूल गर्म पानी या दूध
के साथ 2 कैप्सूल सुबह 8 बजे एवं 2 कैप्सूल रात को सोने से 1 घंटा पहले लेवें |
परहेज :- खटाई, मिठाई, तेल में तली हुई चीज़ें, आलू, चावल, बैंगन, माँस, उड़द दाल, आदि सभी वायुवर्धक
चीज़ों से परहेज करें|
No Side Effect
AYURVEDIC MEDICINE
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